tag:blogger.com,1999:blog-4315573985225860733.post4816324917400366544..comments2023-11-05T00:19:53.278-07:00Comments on मेरी कलम मेरे जज़्बात: चिर वियोगshalini rastogihttp://www.blogger.com/profile/07268565664101777300noreply@blogger.comBlogger2125tag:blogger.com,1999:blog-4315573985225860733.post-15049506232507109062012-02-02T04:26:40.972-08:002012-02-02T04:26:40.972-08:00वाह ... बहुत ही सुन्दर शब्दों का संगम है इस रचना...वाह ... बहुत ही सुन्दर शब्दों का संगम है इस रचना में ।संजय भास्कर https://www.blogger.com/profile/08195795661130888170noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4315573985225860733.post-47466783237575603152012-01-15T07:44:07.330-08:002012-01-15T07:44:07.330-08:00जब मिलन से ज्यादा वियोग भाने लगे
विरह का दर्द आत्...जब मिलन से ज्यादा वियोग भाने लगे<br />विरह का दर्द आत्मा में आनंद जगाने लगे<br />प्रतीक्षा के पल संजोग के क्षणों पे भारी पड़ें<br /> प्रेम की कैसा अद्भुत स्वप्निल संसार ये प्रिये <br /><br /> BAHUT YATHARTH PARAK ABHIVYAKTI .....BADHAI SHALINI JI.Naveen Mani Tripathihttps://www.blogger.com/profile/12695495499891742635noreply@blogger.com